आज के वचन पर आत्मचिंतन...

परमेश्वर के लोग और परमेश्वर की सेवकाईयों निरन्तर घात हो रहें हैं। शैतान शांत नहीं बैठता जब उसका राज्य लूट रहा हो। परन्तु सेवकाई के जो प्रथम सपाही हैं उन्हें अकेले लड़ाई लड़ने की आवश्कयता नहीं। आप उनकी सहायता कर सकते हैं। आप उनके "संघर्ष में जुड़ सकते हैं" परमेश्वर से उनके लिए प्रार्थना करने के दवारा। मैं जनता हूँ की "हार्टलाईटस" में हमे सच में आपके प्रार्थनाओं की सुरक्षा की जरुरत हैं, समर्थ के लिए और बुद्धि के लिए। दूसरे जिन्हे आप जानते हो उन्हें भी इसी तरह की प्रार्थना की जरुरत हैं। धन से अधिक, पीठ पैर थाप से अधिक, कुख्यात होने से या सफलता से अधिक। परमेश्वर के सेवकों को और परमेश्वर के कामों को आपके प्रार्थना सहायता की जरुरत हैं।

मेरी प्रार्थना...

सर्वसमर्थी और परम परमेश्वर, कृपया इन सेवको को आशीष और सुरक्षा और समर्थ दे जो आज मेरे दिल पर हैं .... प्रभु, कृपया अपनी कलीसाओं की सेवकियाँ, सेवको और अपने जनों को आशीष देना और प्रिय ईश्वर, कृपया अपने बच्चों को जो येशु नाम के कारन उत्पीडना में और सताव में हैं, छुडाले। हे परमेश्वर सब समर्थ, आदर और महिमा आपका ही हैं। मेरे विजयी राजा, आपका मेमना जो बलिदान हुआ उसके नाम से प्रार्थना करता हूँ। अमिन।

आज का वचन का आत्मचिंतन और प्रार्थना फिल वैर द्वारा लिखित है। [email protected] पर आप अपने प्रशन और टिपानिया ईमेल द्वारा भेज सकते है।

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