आज के वचन पर आत्मचिंतन...

परमेश्वर पवित्र, धर्मी,एवं न्यायी है|लेकिन,इन गुणों के रूप में महत्वपूर्ण हैं, वह उन्हें अपनी करुणा, अनुग्रह, धैर्य एवं बहने वाले दया और प्रेम से प्रकट करता है| हम परमेश्वर की न सिर्फ आज्ञा माने,आराधना करे, और आदर समम्मा करे बल्कि उससे प्रेम,उसकी प्रसंशा एवं सम्पूर्ण ह्रदय से आराधना करे|हो सकता है की यह हमारे जीवन की सबसे बड़ी चुनौती हो, कि हम परमेश्वर के गुणों को अपने जीवन से प्रदर्शित करे!

मेरी प्रार्थना...

सामर्थी प्रभु परमेश्वर, मैं न सिर्फ आप पर भरोसा करता हु बरन आपकी विश्वासयोग्यता, आपकी दया, आपके प्रेम, आपके अनुग्रह और आपके धैर्य की प्रशंसा करता हूँ|कृपया मुझे आपके प्रत्येक नैतिक गुणों को प्रदर्शित करने में मेरी मदत करें| येशु के नाम से| आमीन!

आज का वचन का आत्मचिंतन और प्रार्थना फिल वैर द्वारा लिखित है। [email protected] पर आप अपने प्रशन और टिपानिया ईमेल द्वारा भेज सकते है।

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