आज के वचन पर आत्मचिंतन...

क्या आप जानना चाहते हैं ऐसा कुछ आप करे और परमेश्वर को भायें ? उसके अनुग्रह में आनंदित रहे । दूसरों के लिए प्रार्थना करे अपनी आशीषों के लिए धन्यवाद् दे । यही कुछ साधारणतः वह चाहता हैं की हम करे ।

मेरी प्रार्थना...

आसमानी बाप और सर्वसमर्थी परमेश्वर, आपका बच्चा होने के इस विचार मात्र से ही मैं उत्सुक हूँ । अब्बा पिता, कृपया मेरी चिंता की प्रार्थना को सुन उन लोगों के प्रति जो आज मेरे हृदय में हैं । प्रेमी परमेश्वर, जो आशीषें आप प्रत्येक दिन मेरे जीवन में उंडेलते हैं उसके लिए बहुत धन्यवाद् । यीशु के पवित्र नाम से प्रार्थना करता हूँ । आमीन।

आज का वचन का आत्मचिंतन और प्रार्थना फिल वैर द्वारा लिखित है। [email protected] पर आप अपने प्रशन और टिपानिया ईमेल द्वारा भेज सकते है।

टिप्पणियाँ